उदयपुर में औषधि नियंत्रक, सहायक औषधि नियंत्रक एवं उनका दलाल (प्राईवेट व्यक्ति-दुकान मालिक) 22 हजार रुपये रिश्वत लेते रंगे हाथों गिरफ्तार

आवास एवं अन्य ठिकानों की तलाशी जारी

विनय एक्सप्रेस समाचार, जयपुर। ए.सी.बी. मुख्यालय के निर्देश पर उदयपुर इकाई द्वारा आज कार्यवाही करते हुये चैतन्य प्रकाश पंवार सहायक औषधि नियंत्रक, धीरज शर्मा औषधि नियंत्रण अधिकारी, उदयपुर को उनके दलाल अंकित जैन (प्राईवेट व्यक्ति-दुकान मालिक) सहित परिवादी से 22 हजार रुपये रिश्वत राशि लेते रंगे हाथों गिरफ्तार किया है।
भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो के महानिदेशक श्री भगवान लाल सोनी ने बताया कि
ए.सी.बी. की उदयपुर इकाई को परिवादी द्वारा शिकायत दी गई कि उसकी मेडिकल की दुकान पर आकर दवाइयों का लेखा-जोखा मांगकर नारकोटिक्स का केस दर्ज करने की धमकी देकर चैतन्य प्रकाश पंवार सहायक औषधि नियंत्रक एवं धीरज शर्मा औषधि नियंत्रण अधिकारी नियंत्रक उदयपुर द्वारा 1 लाख रुपये रिश्वत राशि मांग कर परेशान किया जा रहा है।
जिस पर एसीबी, उदयपुर के उपमहानिरीक्षक पुलिस श्री राजेन्द्र प्रसाद गोयल एवं पुलिस अधीक्षक डॉ. राजीव पचार के सुपरवीजन में एसीबी उदयपुर इकाई के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक श्री उमेश ओझा के नेतृत्व में शिकायत का सत्यापन किया जाकर आज पुलिस निरीक्षक श्री हरिशचंद्र सिंह एवं उनकी टीम द्वारा ट्रेप कार्यवाही करते हुये चैतन्य प्रकाश पंवार सहायक औषधि नियंत्रक व धीरज शर्मा औषधि नियंत्रण अधिकारी उदयपुर के कहने पर रिश्वत राशि को उनके दलाल अंकित जैन पुत्र श्री इन्दरलाल जैन निवासी गांधी चौक, सराड़ा, पुलिस थाना सराड़ा, जिला उदयपुर की मेडिकल शॉप ब्रिटिश फार्मा, मधुबन, उदयपुर पर रखवाने पर उसे परिवादी से 22 हजार रुपये की रिश्वत लेते रंगे हाथों गिरफ्तार किया गया है। आरोपी चैतन्य प्रकाश पंवार पुत्र श्री सोहनलाल पंवार निवासी जटियों का बास, बिलाड़ा, जिला जोधपुर हाल निवासी मकान नं. 15, गली नं. 2, धूलकोट चौराहे के पास, उदयपुर हाल सहायक औषधि नियंत्रक, कार्यालय औषधि नियंत्रक अधिकारी, बड़ी, जिला उदयपुर एवं धीरज शर्मा पुत्र श्री महेन्द्र शर्मा निवासी जैन गली, जैन मंदिर के पास, बयाना, जिला भरतपुर हाल औषधि नियंत्रक अधिकारी, कार्यालय औषधि नियंत्रक अधिकारी, गुलाब बाग रोड़, उदयपुर को भी मौके पर गिरफ्तार किया गया है। उल्लेखनीय है कि आरोपियों द्वारा शिकायत के सत्यापन के दौरान ही परिवादी की दुकान के कलेक्शन में से 8 हजार रुपये रिश्वत के रूप में वसूल कर लिये थे।
एसीबी के अतिरिक्त महानिदेशक पुलिस श्री दिनेश एम.एन. के निर्देशन में आरोपियों से पूछताछ जारी है। एसीबी द्वारा मामले में भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के अन्तर्गत प्रकरण दर्ज कर अग्रिम अनुसंधान किया जायेगा।

एसीबी महानिदेशक, श्री भगवान लाल सोनी ने समस्त प्रदेशवासियों से अपील की है कि भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो की टोल-फ्री हैल्पलाईन नं. 1064 एवं Whatsapp हैल्पलाईन नं. 94135-02834 पर 24×7 सम्पर्क कर भ्रष्टाचार के विरूद्ध अभियान में अपना महत्वपूर्ण योगदान दें। एसीबी आपके वैध कार्य को करवाने में पूरी मदद करेगी। विदित रहे कि एसीबी राजस्थान राज्य में राज्य कर्मियों के    साथ-साथ केन्द्र सरकार के कार्मिकों के विरूद्ध भी कार्यवाही करने को अधिकृत है।