मतदान दल कार्मिकों के प्रशिक्षण में पहुंचे संभागीय आयुक्त और जिला निर्वाचन अधिकारी : सवाल पूछ कर ली हैंड्स ऑन ट्रेनिंग की जानकारी

विनय एक्सप्रेस समाचार, बीकानेर। विधानसभा चुनाव 2023 के लिए पीठासीन अधिकारी का प्रशिक्षण मंगलवार से डूंगर कॉलेज के प्रताप सभागार में प्रारंभ हुआ।
संभागीय आयुक्त उर्मिला राजोरिया ने कार्मिकों को संबोधित करते हुए कहा कि प्रशिक्षण का उद्देश्य मतदान प्रक्रिया की बारीकी और तकनीकी पक्षों को स्पष्ट करना है कार्मिक गंभीरता से प्रशिक्षण लेते हुए अपनी जिज्ञासाओं के संबंध में ट्रेनर्स से सवाल करें और यदि कोई कार्य समझ नहीं आता है तो उसके संबंध में पुनः जानकारी ली जाए।
इस अवसर पर जिला निर्वाचन अधिकारी भगवती प्रसाद कलाल ने कहा कि मतदान दल और चुनाव से जुड़े अधिकारी व कार्मिक आयोग के प्रति जवाबदेह हैं। मतदान कार्मिकों का व्यवहार और कार्य शैली निष्पक्ष और पारदर्शी चुनाव संपादन का आधार है । ऐसे में कार्मिक सौंपे गए दायित्वों का निर्वहन पूरी जिम्मेदारी से करें। जिला निर्वाचन अधिकारी ने इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन और वीवीपेट की कार्यप्रणाली की जानकारी ली और हैंड्स आन ट्रेंनिंग को देखा। उन्होंने प्रशिक्षण प्राप्त कर रहे मतदान दल कार्मिकों से सवाल पूछ कर दी गई ट्रेनिंग के बारे में जाना।।भगवती प्रसाद कलाल ने कहा कि ट्रेनिंग के दौरान छोटी से छोटी प्रक्रिया को सीखने में गंभीरता रखें, जिससे मतदान प्रक्रिया को सहज रूप से संपादित करवाया जा सके।प्रशिक्षण प्रकोष्ठ प्रभारी केसरीलाल मीना ने कहा कि मतदान केंद्रों के पास भीड़ जमा नहीं हो तथा केंद्र के 200 मीटर की परिधि में किसी भी प्रत्याशी का बूथ नहीं लगे यह भी सुनिश्चित किया जाए। मतदान दल अधिकारी दी जाने वाली चेक लिस्ट से मशीन की प्रक्रिया आदि कार्यों को अच्छी तरह जांच लें, जिससे मतदान दिवस पर उन्हें किसी प्रकार की तकनीकी समस्या का सामना न करना पड़े।
प्रशिक्षण के दौरान पीठासीन अधिकारियों द्वारा व्यक्त की गई जिज्ञासाओं का भी समाधान किया गया ।
मास्टर ट्रेनर एस एल राठी ने ईवीएम कार्यप्रणाली, वोटर वेरीफाईइबल पेपर ऑडिट ट्रेल (वीवीपैट) की जानकारी दी । उन्होंने बताया कि विधानसभा चुनाव में मतदाताओं की संतुष्टि के लिए वीवीपेट की व्यवस्था की गई है इसके तहत मतदाता के अपनी पसंद के प्रत्याशी के सामने का बटन दबाने के साथ ही लाल लाइट जलने के दौरान पास ही रखी वीवीपेट के विंडो स्क्रीन पर पर्ची दिखाई देगी। इस पर मतदाता के पसंद के प्रत्याशी का नाम क्रम संख्या और चुनाव चिन्ह दर्ज होगा । उन्होंने बताया कि यह पर्ची 7 सेकंड तक स्क्रीन पर उपलब्ध रहेगी। यह पर्ची इस बात का सबूत होगा कि मतदाता का वोट उसकी पसंद के प्रत्याशी को ही गया है।
उन्होंने बताया कि वोटिंग प्रारंभ होने से पहले मॉक पोल के दौरान अभिकर्ताओं और आमजन के समक्ष इस प्रक्रिया को दिखाया जाए जिससे वे संतुष्ट हो सके।
प्रशिक्षण में मास्टर ट्रेनर वाई बी माथुर ने स्लाइड, पावरप्वाइंट प्रेजेंटेशन के जरिए जानकारी दी। उन्होंने बताया कि कार्मिकों को बैच बनाकर ईवीएम का प्रायोगिक प्रशिक्षण भी दिया गया।
मास्टर ट्रेनर्स डा॰ विपिन सैनी ने बताया कि मतदान केंद्र पर मतदान के दिन मतदान प्रारंभ होने से 90 मिनट पूर्व पीठासीन अधिकारी प्रत्याशियों के अभिकर्ताओं के समक्ष मशीन की तैयारी प्रारंभ करेंगे । कोई भी अभिकर्ता नहीं होने पर मॉक पोल के लिए अधिकतम 15 मिनट इंतजार किया जाएगा।
मॉक पोल प्रारम्भ करने के लिए कंट्रोल यूनिट का स्विच ऑन करने पर उसके स्क्रीन पर एन पी 1 प्रदर्शित होगा इसके कुछ क्षण बाद स्क्रीन पर प्रत्याशियों की संख्या प्रदर्शित होगी ,इसका अर्थ यह होगा कि चुनाव में कितने प्रत्याशी मैदान में है ।इसके पश्चात पीठासीन अधिकारी द्वारा टोटल का बटन दबाने पर स्क्रीन पर 0000 प्रदर्शित होगा जिसका अर्थ होगा कि मशीन पर पहले से कोई मत अंकित नहीं है । मास्टर ट्रेनर डा॰ राधाकिशन ने होम वोटिग की जानकारी दी
प्रशिक्षण प्रकोष्ठ प्रभारी ने बताया कि अभिकर्ताओं की उपस्थिति में यह कार्यवाही सुनिश्चित करने के बाद कि मशीन पर पहले से कोई मत अंकित नहीं है इसके बाद मशीन में ग्रीन पेपर सील और स्वयं द्वारा हस्ताक्षरित विशेष टैग लगाए जाएंगे तथा ढक्कन बंद कर उसे टैग सील करेंगे ।प्रशिक्षण के दौरान कार्मिकों को पोलिंग स्टेशन के बाहर की व्यवस्था, मॉक पोल, सी विजिल ऐप डाउनलोड करने के बारे में भी जानकारी दी गई तथा दोनों मशीनों को सील पैक करने की कार्यवाही समझाई गई।प्रशिक्षण के दौरान मास्टर ट्रेनर समिन्दर सक्सेना ने विभिन्न व्यवस्थाओं को संपन्न करवाया तथा इस दौरान नियुक्ति शाखा पोस्टल बैलट शाखा तथा पहचान पत्र जारी करने वाली शाखा ने भी अपने कार्य सम्पन्न ने किया