बीकानेर तकनीकी विश्वविद्यालय दुवारा दो राष्ट्रिय वेबिनार आयोजित, 1600 प्रतिभागियों की सहभागिता

कोविड काल में जागरूकता और सावधानियों के साथ रोजागर के वैकल्पिक संसाधनों से जुड़े मुद्दों पर हुई चर्चासजगता और जागरुकता के साथ कोरोना महामारी का किया जाए सामना : डॉ अम्बरीश शरण विद्यार्थी,कुलपति

विनय एक्सप्रेस समाचार,बीकानेर।  असहाय जन कल्याण सेवा समिति उत्तराखंड एवं एम्स ऋषिकेश, आईसीएआर-सीआईएई भोपाल के सहयोग से बीकानेर तकनीकी विश्वविद्यालय के महाविद्यालय यूसीईटी बीकानेर और एमआईटीआरसी अलवर के संयुक्त तत्वाधान में “कोविड -19 महामारी पर समुदाय संवाद: विशेषज्ञों के साथ बातचीत ” विषय पर एक दिवसीय राष्ट्रीय वेबिनार का आयोजन किया गया। कोविड की दूसरी लहर का घातक प्रभाव भारत पर भारी पड़ रहा है हम देश में कोविड की दूसरी लहर के रूप में त्रासदी का अनुभव कर रहे हैं, शीघ्र आने वाली तीसरी लहर भी बच्चों के लिए हानिकारक होगी। इसलिए कोविड -19 के बारे में वास्तविकता की जांच करना और समस्याओं, समाधानों और बरती जाने वाली सावधानियों से अवगत होना महत्वपूर्ण है। इस वेबिनार में इनसे जुड़े मुद्दों पर विचार विमर्श हुआ, सहायक जनसंपर्क अधिकारी विक्रम राठौड़ ने आयोजित कार्यक्रम कीविस्तृत जानकारी प्रदान करते हुए बताया की

मुख्य संरक्षक डॉ. अम्बरीश शरण विद्यार्थी कुलपति बीकानेर तकनीकी विश्वविद्यालय ने अपने उदबोधन में कहा कि की इस महामारी के बारे में जागरूकता बढ़ाने में अपने योगदान के रूप में इस तरह के कार्यक्रम का आयोजन करना सराहनीय हैं। जहाँ डॉक्टर्स हमारे साथ जुड़े और वे जनता को उचित परामर्श द्वारा कर सके, यह समय की मांग है। विश्वविद्यालय के निदेशक आकादमिक अफेयर्स डॉ वाई एन सिंह ने कहा की एम्स ऋषिकेश, आईसीएआर-सीआईएई भोपाल से हमसे जुड़े डॉक्टर्स साधुवाद के पात्र हैं, जिन्होंने अपनी जिम्मेदारियों के तहत इस विषय पर वेबिनार का आयोजन किया है । उन्होंने प्रतिभागियों की कोरोना के बारे में जानकारी को बढ़ाने के लिए महामारी की स्थिति के वर्तमान परिदृश्य में आयोजन टीम के प्रयासों की सराहना की और बधाई दी । संरक्षक व एमआईटीआरसी अलवर के प्रिंसिपल प्रोफ एस के शर्मा ने कार्यक्रम के सभी आयोजकों को धन्यवाद दिया और भविष्य में भी इस तरीके के जागरूकता वाले कार्यक्रम आयोजित करने के लिए प्रेरित किया। उन्होंने कहा कि यह बहुत महत्वपूर्ण है कि हम कोविड के वास्तविकताओं को जाने और पहचाने एवं उससे लड़ने के लिए घबराने की बजाये सूझ बूझ से काम लें और एतिहात बरतें। मुख्य अतिथि डॉ डी एस चौहान, पूर्व अध्यक्ष एआईयू, ने अपने वक्तव्य में कहा की जैसा कि भारत कोविड को जीतने के लिए संघर्ष कर रहा है, यह हमारे लिए अतिरिक्त सावधानी और जागरूकता के साथ कदम बढ़ाने का समय है। उन्होंने ने कहा कि भारत एक विपत्तिपूर्ण कोरोनावायरस वृद्धि से पीड़ित है । कोविड महामारी की पहली लहर के विपरीत, इस बार शहरी और ग्रामीण दोनों क्षेत्र गंभीर रूप से प्रभावित हुए हैं। कम टीकाकरण दर और बड़े पैमाने पर कोविड सकारात्मकता के साथ, हम भारत में एक चरमराती चिकित्सा बुनियादी ढांचे और अपर्याप्त उपकरणों के साथ एक विशाल स्वास्थ्य और वित्तीय आपातकाल से लड़ रहे हैं। आपको बुजुर्ग माता-पिता हों या आश्रितों का परिवार, आपको कोविड पीड़ित के मामले में समय पर चिकित्सा सहायता और देखभाल सुनिश्चित करना हैं।

मुख्य वक्ता डॉ संतोष कुमार, एसोसिएट प्रोफेसर एम्स, ऋषिकेश (एमबीबीएस-एमडी), ने विशेषज्ञ के रूप मे सभी प्रतिभागियों के प्रश्नों के उत्तर दिए। सत्र एक प्रश्न उत्तर प्रबंधन से जुड़ा हुआ था, जिसका नेतृत्व डॉक्टर एस के अग्रवाल ने किया, जहां उन्होंने प्रतिभागियों द्वारा पहले से प्रदान किए गए कोविड -19 से संबंधित विभिन्न प्रश्नों को पढ़ा और प्रतिभागियों के मुद्दों, समस्याओं और चिंताओं का समाधान प्रदान किया। डॉ. संतोष जी द्वारा बताया गया कि आज सोशल मीडिया के माध्यम सेआम जनता के बीच में एक भ्रम का वातावरण तैयार किया जा रहा है जिसमे आम जन मानस ऐसी महामारी के समय कोई भी निर्णय ले पाने में अपने आप को अक्षम महसूस कर रहा है। ऐसी अनिर्णय की स्थिति में केवल जागरूकता ही एक उपाय है।ऐसी जागरूकता फैलाने के लिए सामाजिक संगठनों का सहयोग अति महत्वपूर्ण है।

मुख्य वक्ता डॉ मनोज कुमार त्रिपाठी, प्रधान वैज्ञानिक कृषि उत्पाद प्रसंस्करण प्रभाग आईसीएआर- केंद्रीय कृषि इंजीनियरिंग संस्थान, द्वारा अपने वक्तव्य में वर्तमान समय में कोविड-19 के जागरूकता के महत्व को प्रस्तुत किया जिसमे विशेषज्ञों द्वारा सामान्य बुखार एवं कोविड के लक्षणों के बारे मे बताते हुए दोनो के अन्तर के स्पष्ट करते हुए दोनो परिस्थितियों मे रोगी को क्या क्या करना चाहिए इस विषय पर चर्चा करते हुए, मास्क किस तरह पहने ,डबल मास्क का कब और क्यों तथा कितनी देर तक लगाएं सर्जिकल एवं कपड़े के मास्क के उपयोग के विषय मे जानकारी प्रदान की। वैक्सिनैशन किनको करवाना है और किनको नहीं आदि से जुडी भ्रान्तियो के निदान के साथ ही आक्सीमीटर के उपयोग से संबंधित सम्पूर्ण जानकारी देते हुए कोविड से संबंधित अनेक विषय पर विस्तृत चर्चा की गई। डॉ त्रिपाठी ने हैल्दी डाइट लेने पे ज़ोर दिया। कार्यक्रम का संचालन सह संयोजक डॉ रूमा भदौरिया द्वारा किया गया था व कार्यक्रम के संयोजक डॉ ममता शर्मा पारीक ने प्रश्न-उत्तर सत्र को संभाला व कार्यक्रम को सफल बनाने मे अपना सहयोग प्रदान किया। संयोजक श्री संजय अग्रवाल और अन्य सह संयोजक एमआईटीआरसी अलवर के श्री विकास महालवत, डॉ. नीरज जैन ने बताया कि इस निशुल्क वेबीनार में सम्पूर्ण भारतवर्ष से प्रतिभागियों ने लाभ प्राप्त किया। इस कार्यक्रम में जिसमें शिक्षक ,कर्मचारी विद्यार्थी गण तथा आमजन भी प्रतिभागी रहे । कार्यक्रम के संरक्षक एमआईटीआरसी अलवर के प्रिंसिपल प्रो.एस. के शर्मा ने सभी का धन्यवाद ज्ञापित किया । प्रो . एस के शर्मा ने वेबीनार के विषय को उपयोगी बताते हुए भविष्य में भी इस प्रकार के विषयों पर वेबीनार आयोजित करने की आवश्यकता बताई। प्रतिभागियों द्वारा संस्था के इस लाभकारी प्रयास की सराहना की गई तथा भविष्य मे इसी तरह के समाजोपयोगी प्रयासों की भविष्य मे जरुरत महसूस की गई।

वही दुसरी और बीकानेर तकनीकी विश्वविद्यालय के संबंधित महाविद्यालय यूसीईटी बीकानेर,एमआईटीआरसी अलवर एवं करियर लैब्स बाईजूस के संयुक्त तत्वाधान में “हाउ टू क्रैक टॉप रेटेड प्लेसमेंट्स एंड बिल्ड यॉर प्रोफाइल ” विषय पर एक दिवसीय राष्ट्रीय वेबिनार का आयोजन किया गया जिसमे कोविड महामारी के कारण रोजगार संकट से जुड़े मुद्दों और विकल्प पर विचार विमर्श किया गया। निदेशक आकादमिक अफेयर्स डॉ वाई एन सिंह ने कहा की करियर लैब्स बाईजूस साधुवाद के पात्र हैं जिन्होंने अपनी जिम्मेदारियों के तहत इस विषय पर वेबिनार का आयोजन किया है । उन्होंने प्रतिभागियों के दृष्टिकोण को प्रबुद्ध करने के लिए महामारी की स्थिति के वर्तमान परिदृश्य में आयोजन टीम के प्रयासों की सराहना की और बधाई दी । एमआईटीआरसी अलवर के प्रिंसिपल प्रोफ एस के शर्मा ने कार्यक्रम के सभी आयोजकों को धन्यवाद दिया और भविष्य में भी करियर उन्मुख कार्यक्रम आयोजित करने के लिए प्रेरित किया। उन्होंने कहा कि यह बहुत महत्वपूर्ण है कि छात्र अच्छी तरह से काम करने वाले वयस्कों के रूप में विकसित हों। सत्र के मेजबान, श्री सतीश आनंद जोश टॉक स्पीकर, इंटरनेशनल ऑथर, सॉफ्ट स्किल्स ट्रेनर, मास्टर ट्रेनर बीऐसडीएम् ( मुख्यमंत्री श्री नीतीश कुमार के तत्वावधान में बिहार सरकार की पहल), सॉफ्ट स्किल्स ट्रेनिंग और कंटेंट डेवलपमेंट में 19 साल का अनुभव, द्वारा अपने वक्तव्य में वर्तमान समय में प्लेसमेंट के लिए प्रोफाइल बिल्डिंग के महत्व को प्रस्तुत किया गया।

उन्होंने प्लेसमेंट और प्रतियोगी परीक्षाओं की लिखित परीक्षाओं में स्मार्ट तरीके से और जल्दी से जीआरई प्रश्नों को हल करने के लिए छात्रों के लिए कुछ बहुत ही जानकारीपूर्ण और प्रासंगिक व्यावहारिक सत्र लिए। उन्होंने छात्रों को अपने डोमेन में छोटी परियोजना लेकर सीखना शुरू करने और उस पर काम करने के लिए निर्देशित किया। उन्होंने उल्लेख किया कि परियोजनाएं उन्हें अपने कौशल का प्रदर्शन करने में मदद करेंगी, इससे उन्हें उनकी साक्षात्कार प्रक्रियाओं के माध्यम से बहुत मदद मिलेगी। कार्यक्रम के संयोजक डॉ ममता शर्मा पारीक व कार्यक्रम के समन्वयक डॉ रूमा भदौरिया बताया कि इस निशुल्क वेबीनार में अलग अलग राज्यो के छात्र छात्राओं ने पंजीकरण कराया । वेबिनार के अन्य समन्वयक एमआईटीआरसी अलवर के श्री विकास महालवत भी मौजूद रहे। उन्होंने वेबीनार के विषय को उपयोगी बताते हुए भविष्य में भी इस प्रकार के विषयों पर वेबीनार आयोजित करने की आवश्यकता बताई ।