विनय एक्सप्रेस समाचार, जयपुर। सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग में अधिकारियों के दृष्टिकोण, आचरण, व्यवहार और मूल्यों में सुधार विषय पर आयोजित चार दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम का समापन गुरूवार को हुआ। सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग के सचिव डॉ.समित शर्मा ने प्रशिक्षण कार्यक्रम के अंत में कहा कि एक लोकसेवक का दायित्व है कि वह आम जन तक राज्य सरकार की जन कल्याणकारी योजनाओं का लाभ त्वरित और समय पर पहुंचाये। इसके लिए आमजन द्वारा जो टैक्स सरकार को दिया जाता है उसी से सरकारी अधिकारी और कर्मचारियों को वेतन मिलता है। सरकारी योजनाओं के लाभार्थी एक तरह से सेवा ग्राहक हैं और सरकारी अधिकारी एवं कर्मचारी सेवा प्रदाता की भूमिका में है अतः हमें पारदर्शिता से त्वरित सरल सुगम एवं सुविधाजनक तरीके से नागरिकों को संतोषजनक सेवाएं प्रदान करनी चाहिए।
उन्होंने कहा कि अधिकारीगण अपने व्यवहार और मूल्यों में सुधार और अपनी सोच का दायरा सकारामक रूप से बढ़ाकर वंचित और जरूरतमंद तबके तक योजनाओं का लाभ पहुंचा सकता है। उन्होंने अधिकारियों को तनाव रहित आनंदमयी कार्यप्रणाली (joyful working) एवं समय प्रबंधन (time management) करते हुए योजनाओं के क्रियान्वयन के लिए मोटिवेट किया।
प्रशिक्षण कार्यक्रम में सकारात्मक व्यक्तित्व, खुशी और सफलता के लिए समय प्रबंधन, योगा प्रणायाम, मेडीटेशन, प्रभावशाली संवाद, तनाव प्रबंधन और अच्छे प्रदर्शन के लिए मोटिवेशन विषयक सेशन आयोजित किये गये।
कार्यक्रम में प्रोफेसर श्री रमेश अरोड़ा, पूर्व भारतीय प्रशासनिक सेवा के अधिकारी श्री राजेन्द्र भानावत सहित कई मोटिवेशनल स्पीकर ने अपने विचार व्यक्त किये।
कार्यक्रम में निदेशक, सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता श्री विश्राम मीना सहित विभागीय अधिकारियों ने प्रशिक्षण कार्यक्रम में भाग लिया।