विनय एक्सप्रेस समाचार, जोधपुर| आत्मा योजनान्तर्गत वर्ष 2022-23 में राज्य, जिला तथा पंचायत समिति स्तर पर विभिन्न कृषि उद्यमों के श्रेष्ठ कृषकों को पुरस्कृत किया जाएगा। इस पुरस्कार के लिए प्रत्येक पंचायत समिति स्तर पर पांच कृषकों का चयन प्रत्येक गतिविधिवार अलग-अलग कृषि उद्यानिकी, पशुपालन एवं डेयरी, जैविक खेती, नवाचारी खेती, चयन गतिविधियों में उत्कृष्ट कार्य करने वाले कृषकों में से एक-एक कृषक का चयन किया जावेगा। इस प्रकार प्रत्येक पंचायत समिति स्तर पर कुल 5 कृषकों का चयन गतिविधिवार किया जावेगा।
पंचायत समिति स्तर पर चयनित कृषकों में से 10 सर्वश्रेष्ठ कृषकों को (प्रत्येक गतिविधि के लिए 2 सर्वश्रेष्ठ कृषक) को जिला स्तर पर चयनित किया जाएगा तथा प्रदेश के समस्त जिलों से चयनित कृषकों में से राज्य स्तर पर 10 सर्वश्रेष्ठ कृषकों का (प्रथम एवं द्वितीय स्तर पर 5-5 कुल 10) चयन होगा। पुरस्कार के लिए प्रत्येक गतिविधिवार पंचायत समिति स्तर पर राशि 10 हजार रुपए, जिला स्तर पर राशि 25 हजार रुपए एवं राज्य स्तर पर राशि 50 हजार रुपए देने का प्रावधान है।
कृषक पुरस्कार के लिए कृषकों के चयन के लिए निर्धारित दिशा निर्देशानुसार कृषि एवं पदेन परियोजना निदेशक (आत्मा) उप निदेशक शंकर राम बेड़ा ने बताया कि पंचायत समिति स्तर एवं जिला स्तर पर सम्मानित किए जाने वाले कृषकों का चयन आत्मा योजना में जिला कलक्टर की अध्यक्षता में गठित शाषी परिषद् द्वारा किया जाएगा।
आत्मा योजना के तहत गत वर्षाे में पुरस्कृत (वर्ष 2009-10 से 2021-22 तक) में आत्मा योजना में अथवा अन्य किसी भी योजना से कृषकों को एक बार ही इस योजना के अन्तर्गत सम्मानित किए जाने का प्रावधान है। पूर्व किसी भी स्तर (पंचायत समिति स्तर, जिला स्तर एवं राज्य स्तर) पर चयनित किया जा चुका है तो, वह कृषक वर्ष 2022-23 के पुरस्कार हेतु पात्र नहीं होगा। इस योजना के तहत कृषक स्वयं या निर्वाचित जन प्रतिनिधि या कोई अन्य व्यक्ति/संस्था योग्य कृषक के प्रस्ताव उसके द्वारा कृषि एवं सम्बद्ध क्षेत्र में किए गए उत्कृष्ट कार्याे का विवरण मय फोटोग्राफ/सीडी/डीवीडी सहित प्रस्तुत करते हुए नाम प्रस्तावित कर सकते हैं।
कृषिः- कृषक जो कृषि विभाग द्वारा निर्धारित 21 मूल मंत्र की पालना, समग्र कृषि गतिविधियों यथा प्रमाणित बीज प्रयोग, बीज उपचार, फार्म मशीनरी, कृषि विभाग की पैकेज ऑफ प्रेक्टिसेज अपनाते हुए खेती करना एवं हाईटेक कृषि करते हुए गुणवत्तायुक्त उत्पादन लेते हो, उन्हीं कृषकों को चयन में वरीयता दी जाएगी।
उद्यानिकीः- हाईटेक उद्यानिकी/माइक्रो इरिगेशन द्वारा सिंचाई, वृक्षों की आपसी दूरी तथा कटाई पश्चात प्रबन्धन करने, सब्जियों की खेती करने वाले, फल बगीचा स्थापना मय ड्रिप व फसलोत्तर प्रबन्धन करने वाले कृषकों को वरीयता दी जाएगी।
पशुपालन एवं डेयरीः- पशुपालन में उन्नत नस्ल के पशु, अच्छा पशु स्वास्थ्य, नियमित टीकाकरण, पशुओं को संतुलित आहार, कृत्रिम गर्भाधान, दुग्ध उत्पादन आदि ऐसे कृषकों को वरीयता दी जावेगी।
जैविक में कम्पोस्ट निर्माण, बीजामृत, वर्मीवॉश, जैविक उत्पाद का निर्माण व विपणन आदि जैविक खेती के उत्कृष्ट कार्य करने वाले कृषकों को वरीयता दी जाएगी।
नवाचारी खेती व प्रसंस्करण मशरूम उत्पादन, मधुमक्खी पालन, मछली पालन, हार्डड्रोपोनिक खेती, अजोला की खेती आदि अनेक नवाचारी गतिविधियां जो कृषि के क्षेत्र में नया हो तथा जो कृषक कृषि आधारित उत्पादों के प्रसंस्करण एवं मूल्य संवर्धन का कार्य कर रहे है, उन्हीं कृषकों को चयन में वरीयता दी जाएगी।
उन्होंने बताया कि प्रेषित प्रस्ताव में कृषक मय पिता नाम निवासी, पंचायत समिति, फोन नं., आधार नं., बैक खाता नम्बर मय आईएफएसी कोड के साथ कार्य विवरण/उपलब्धि हेतु अप्रेषित साक्ष्य, दस्तावेज, फोटोग्राफ/सी.डी., डी.वी.डी. आदि सोफ्ट कोपी के साथ प्रमाण स्वरूप संलग्न किये जाकर सम्बन्धित विभाग/ब्लॉक स्तरीय तकनीकी कमेटी की अभिशंषा के साथ कार्यालय को भिजवाया जाना आवश्यक हैं।
इन योजनाओं में पुरस्कृत किए जाने के लिए कृषक के मनोनयन प्रस्ताव 31 अगस्त तक आमंत्रित किए जाएंगे। आमंत्रण प्रस्ताव कार्यालय उप निदेशक कृषि एवं पदेन परियोजना निदेशक, ’’आत्मा’’, कृषि भवन, पावटा चौराहा, जोधपुर में पहुँचाया जाना है।