चित्रकला विभाग के आजादी के अमृत महोत्सव विषयक आर्ट कैंप में रिकॉर्ड 17 घंटे 48 मिनट में 75 स्वतंत्रता सेनानियों के पोर्ट्रेट हुए तैयार : डॉ. मेघना शर्मा
आज़ादी का अमृत महोत्सव के तहत एमजीएसयू चित्रकला विभाग में हुआ आर्ट कैंप आयोजित, विद्यार्थियों ने बनाया एक और कीर्तिमान, सभी विद्यार्थी होंगे पंद्रह अगस्त को सम्मानित : डॉ बिठ्ठल बिस्सा
चित्रकला विभाग के विद्यार्थियों की इस अनूठी उपलब्धि को रिकॉर्ड बुक्स में शामिल करवाने के होंगे प्रयास : विनोद कुमार सिंह
विनय एक्सप्रेस समाचार, बीकानेर। एमजीएसयू के चित्रकला विभाग के विद्यार्थियों ने 17 घंटे 48 मिनट मात्र का समय लेते हुए 75 स्वतंत्रता सेनानियों के पोट्रेट तैयार कर अनूठा कीर्तिमान रचा है।
चित्रकला विभाग की सह प्रभारी डॉ मेघना शर्मा ने बताया कि आजादी का अमृत महोत्सव थीम पर आयोजित आर्ट कैंप के तहत बारह विद्यार्थियों ने आजादी की यात्रा में आहुति देने वाले देशभर के 75 स्वतंत्रता सेनानियों को अपनी कूची के माध्यम से श्रद्धांजलि देते हुए अमृत महोत्सव को सच्चे अर्थों में जीने का सुकार्य किया है।
राज्यपाल कलराज मिश्र के परिसर में आगमन की पूर्व संध्या पर आर्ट कैंप की समाप्ति पर सर्वप्रथम विभागाध्यक्ष प्रो. राजाराम चोयल ने मुख्य अतिथि कुलपति प्रो. विनोद कुमार सिंह का पुष्प गुच्छ देकर स्वागत किया।
विश्वविद्यालय के आज़ादी के अमृत महोत्सव के नोडल ऑफिसर डॉ. बिट्ठल बिस्सा ने कुलपति सिंह का शॉल पहनाकर अभिनंदन करने के उपरांत बताया कि विद्यार्थियों द्वारा तैयार समस्त पोट्रेट राज्यपाल महोदय के आगमन पर विश्वविद्यालय परिसर स्थित अहिंसा पार्क में अलंकृत किए जाएंगे जहां राज्यपाल महोदय कलाकृतियों का अवलोकन करेंगे व प्रतिभागी विद्यार्थियों से मुलाकात कर उन्हें आशीर्वाद भी करेंगे। उन्होंने समस्त विद्यार्थियों को पंद्रह अगस्त कों होने वाले स्वाधीनता दिवस समारोह में सम्मानित करवाने की भी बात कही।
अपने उद्बोधन में कुलपति प्रो विनोद कुमार सिंह ने कहा कि मात्र 17 घंटे 48 मिनट में 75 पोट्रेट तैयार करना चित्रकला विभाग का अपने आप में एक अनूठा कीर्तिमान है। इस अनूठे कीर्तिमान की ओर अग्रसर विद्यार्थियों में राम कुमार भादाणी, फराह मुगल, मंजू जांगिड़, लक्ष्मी, रोहिताष, खुशबू स्वामी, जयश्री, मनमोहन बिस्सा, गणेश, गौरव कृष्ण, सौरभ शामिल रहे। प्रो. सिंह ने विद्यार्थियों को आश्वासन दिया कि इस गतिविधि को चित्रकारी क्षेत्र के पूर्व कीर्तिमानों के शोध पश्चात रिकॉर्ड बुक्स में शामिल करवाने के प्रयास भी विश्वविद्यालय द्वारा किए जाएंगे।
आर्ट कैंप में विद्यार्थियों द्वारा कलाकृतियां तैयार करवाने में निर्देशन डॉ. राकेश किराडू का रहा।
अंत में डॉ॰ मदन राजोरिया ने धन्यवाद ज्ञापित किया।