राजीविका द्वारा संभाग स्तरीय प्रदर्शनी का हुआ शुभारम्भ : महिलाऐं स्वरोजगार का कार्य कर परिवार की आय में बनें भागीदार – डॉ. गर्ग

विनय एक्सप्रेस समाचार, भरतपुर। राजस्थान ग्रामीण आजीविका विकास परिषद द्वारा आयोजित पॉच दिवसीय संभाग स्तरीय प्रदर्शनी का शुभारम्भ शनिवार को तकनीकी शिक्षा एवं आयुर्वेद राज्य मंत्री डॉ. सुभाष गर्ग ने किया। इस प्रदर्शनी में संभाग के चारों जिलों के महिला स्वयं सहायता समूहों द्वारा तैयार किये गये उत्पादों की 30 स्टॉलें लगी हुई हैं।
प्रदर्शनी के शुभारम्भ के बाद आयोजित समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में बोलते हुये तकनीकी शिक्षा एवं आयुर्वेद राज्य मंत्री डॉ. सुभाष गर्ग ने कहा कि महिलाऐं स्वरोजगार कार्य कर परिवार की आय में भागीदार तो बनती ही हैं साथ ही उनका परिवार में सम्मान भी बढता है। उन्होंने कहा कि भरतपुर जिले की आर्थिक समृद्वि में कृषि एवं पशुपालन प्रमुख स्थान है यदि समूह की महिलाऐं पशुपालन के साथ साथ डेयरी का व्यवसाय भी शुरू करें तो उनकी आर्थिक स्थिति मे काफी बदलाव आ सकता है। उन्होंने बताया कि राज्य सरकार ने भी पशुपालन की गतिविधि को प्रोत्साहित करने के लिये दूध के विक्रय मूल्य पर पॉच रूपये की प्रोत्साहन राशि देने की घोषणा की है जो कि पहले ये राशि दो रूपये थी। उन्होंने समूहों की महिलाओं से आग्रह किया कि समाज की संर्कीण मानसिकता से उपर उठकर पूर्ण इच्छाशक्ति व मेहनत के साथ कार्य करें जिससे वे निश्चित रूप से अपने कार्य में सफल होंगी।
डॉ. गर्ग ने समूहों की महिलाओं को सुझाव दिया कि वे अपने कार्यों में गुणवत्ता के साथ साथ नवीन तकनीक का समावेश करें जिससे उनके उत्पादों को अन्तर्राष्ट्रीय बाजार में स्थान मिल सके। उन्होंने मंशा माता मंदिर के पास नगर निगम द्वारा निर्मित चौपाटी की दुकानों को राजीविका को उपलब्ध कराने और राजकीय कार्यालयों में एक लाख रूपये तक के उत्पाद क्रय करने का सुझाव भी दिया।
कार्यक्रम में संभागीय आयुक्त सांवरमल वर्मा ने कहा कि राजीविका के समूहों को बैंकों से जोडकर समय पर ऋण मुहैया कराने और उनके उत्पादों की प्रदर्शनी देश के विभिन्न भागों में लगाने का सुझाव दिया जबकि जिला कलक्टर आलोक रंजन ने कहा कि महिलाऐं अपने गुणवत्तापूर्ण उत्पादों को तैयार करने के साथ साथ उनके विक्रय के लिये भी निरन्तर प्रयास करें इस कार्य में प्रशासन उनका सहयोग करेगा। उन्होंने ग्रामीण हाट को राजीविका को उपलब्ध कराने के प्रस्ताव तैयार करने के निर्देश राजीविका के जिला प्रबंधक को देते हुये कहा कि इन दुकानों के आवंटन के बाद समूहों की महिलाओं को अपने उत्पादों के विक्रय का उचित स्थान प्राप्त हो जायेगा। जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी श्रीनिधि बीटी ने भी कहा कि भरतपुर जिले में महिला स्वयं सहायता समूहों द्वारा तैयार किये गये उत्पादों की गुणवत्ता को देखते हुये इन्हें राज्य सरकार के कार्यालयों में निर्धारित दरों पर सप्लाई कराने का प्रयास शुरू कराया जायेगा।
प्रारम्भ में राजीविका के परियोजना प्रबंधक केएल जाटव ने बताया कि संभाग में 33221 स्वयं सहायता कार्यरत हैं जिनसे करीब 3 लाख 32 हजार महिलाऐं जुडी हुई हैं जबकि भरतपुर जिले में लगभग 9 हजार समूह कार्य कर रहे हैं जिनमें से 70 समूहों ने दुग्ध संग्रहण केन्द्र स्थापित कर रखे हैं। इस अवसर पर छोंकरवाडा की श्रीमती हेमा एवं शहदपुरा की श्रीमती मधु ने अपनी सफलता की कहानी सुनाई। कार्यक्रम में महिला अधिकारिता विभाग के उपनिदेशक , जिला उद्योग केन्द्र के महाप्रबंधक बीएल मीणा , पार्षद सतीश सोगरवाल, उपखण्ड अधिकारी देवेन्द्र सिंह परमार सहित अन्य अधिकारी एवं जनप्रतिनिधि मौजूद रहे।