प्रशिक्षण संयोजक राजेंद्र जोशी ने प्रशिक्षण के दौरान वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से जिले के दक्ष प्रशिक्षकों को संबोधित करते हुए कहा की साक्षरता का व्यापक परिपेक्ष है जिसमें बुनियादी साक्षरता, जीवनोपयोगी शिक्षा प्राप्त करना, जीविकोपार्जन के अवसर प्राप्त करने का अधिकार, व्यक्ति को निजी एवं व्यावसायिक स्तरों पर आगे बढ़ने में मदद करता है। उन्होंने कहा कि हम शिक्षार्थियों को पढ़ाने जा रहे हैं वह 15 वर्ष से ऊपर की आयु के हैं उनके पास अनुभव का भंडार है। वह अपने रोजमर्रा के कार्य अपने ढंग से कर लेते हैं,वे तभी पढ़ेंगे जब उन्हें पढ़ना उपयोगी लगेगा।
उन्होंने कहा की शिक्षार्थियों को पूरी तैयारी से पढ़ाएं ताकि वह जो पढ़ रहे हैं उसका लाभ उन्हें मिल सके इससे स्वयंसेवक भी बहुत कुछ नया सीखेंगे तथा उनका आत्मविश्वास बढ़ेगा, उन्होंने कहा कि उनसे अपेक्षा है कि वे पूरी तैयारी मेहनत और आदर से शिक्षार्थियों को पढ़ाएं ।
संदर्भ व्यक्ति के रूप में विजय शंकर पुरोहित एवं नरेंद्र सिंह ने प्रशिक्षण प्रदान करते हुए कहा कि शिक्षार्थियों के लिए प्रवेशिका उड़ान शिक्षा चार भागों में भारत सरकार के एनसीईआरटी द्वारा निर्मित की गई है हमें उन्हीं को आधार मानकर विभिन्न 13 विषयों पर आधारित है। विषय सामग्री के रूप में भाषा गणित पर काम करना होगा प्रशिक्षण कार्यक्रम में नोखा, पांचू,लूणकरणसर, खाजूवाला, बीकानेर, कोलायत एवं डूंगरगढ़ के विभिन्न पंचायत समितियों के दक्ष प्रशिक्षक एवं समन्वयक शामिल हुए।
पढ़ना लिखना अभियान के तहत हुआ एक दिवसीय प्रशिक्षण
विनय एक्सप्रेस न्यूज़ बीकानेर। जिला साक्षरता समिति के तत्वावधान में पढ़ना लिखना अभियान के तहत जिले के दक्ष प्रशिक्षकों का एक दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम गुरुवार को संपन्न हुआ। प्रशिक्षण कार्यक्रम में जिले भर के लगभग 150 दक्ष प्रशिक्षकों ने प्रशिक्षण प्राप्त किया। प्रशिक्षण कार्यक्रम को संबोधित करते हुए मुख्य जिला शिक्षा अधिकारी राजकुमार शर्मा ने कहा की किन्ही कारणों से विद्यालय शिक्षा से वंचित रहे बच्चे, युवा, व्यस्क व प्रौढों को इस अभियान में सम्मिलित किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि 15 वर्ष से अधिक उम्र के व्यक्तियों को पढ़ने लिखने के अवसर उपलब्ध करवाना ही पढ़ना लिखना अभियान का मुख्य उद्देश्य है।