आरसीएचओ ने एल्बेंडाजोल गोली खिलाकर किया राष्ट्रीय कृमि मुक्ति कार्यक्रम का आगाज

एएनएम प्रशिक्षण केंद्र में हुआ जिला स्तरीय शुभारंभ कार्यक्रम, अभियान के तहत 1 से 19 वर्ष तक के बच्चों को खिलाई कृमि नाशक दवा

विनय एक्सप्रेस समाचार, पाली। राष्ट्रीय कृमि मुक्ति कार्यक्रम का आगाज सोमवार को पाली शहर सहित जिलेभर में समारोह पूर्वक किया गया। जिला स्तरीय कार्यक्रम का आगाज सोमवार को जिला मुख्यालय स्थित एएनएम प्रशिक्षण केंद्र पर आरसीएचओ डॉ.पवन गहलोत के सानिध्य में किया गया।
चिकित्सा विभाग की ओर जिले में 17 अक्टूबर को राष्ट्रीय कृमि मुक्ति कार्यक्रम चलाया गया। इसके तहत 1 से 19 वर्ष तक के बच्चों को कृमि नाशक एल्बेंडाजोल की गोली खिलाई गई। इस अभियान में 1 से 19 वर्ष तक बच्चों और किशोर-किशोरियो को कृमि मुक्त रखने लिए राष्ट्रीय कृमि मुक्ति कार्यक्रम के दौरान जिले के सभी उप स्वास्थ्य केन्द्रों, आंगनबाड़ी केन्द्रों और शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों पर एल्बेंडाजोल की गोलियां खिलाई गई।
इस कार्यक्रम का जिला स्तरीय शुभारंभ सोमवार को पाली जिला मुख्यालय स्थित एएनएम प्रशिक्षण केंद्र में आरसीएचओ डॉ.पवन गहलोत ने एएनएम प्रशिक्षण केंद्र की प्रशिक्षणार्थी को कृमि नाशक एल्बेंडाजोल की गोली खिलाकर किया गया।


इस मौके पर आरसीएचओ डॉ.पवन गहलोत ने कहा कि कृमि संक्रमण बच्चों के शारीरिक विकास, हीमोग्लोबिन स्तर पोषण स्तर और बौद्धिक विकास पर हानिकारक प्रभाव डालता है। कृमि बच्चों के पेट में पड़ने वाले कीड़े होते हैं, जो बच्चों के विकास पर हर प्रकार से प्रभावित करते हैं और कृमि के फैलाव को निश्चित समयांतराल पर कृमि मुक्त (डिवार्मिंग) कर रोका जा सकता है। जिसके लिए कृमि नाशक दवा एल्बेंडाजोल की गोली 17 अक्टूबर को खिलाई जा रही है। एएनएमटीसी के प्रिंसीपल केसी सैनी ने बताया कि बच्चों के पेट में कृमि संक्रमण एक आम संक्रमण है जिसके कारण से पेट की आंतों में कृमि उत्पन्न होने से शरीर के पोषक तत्वों को वह खा जाते हैं और इसके कारण खून की कमी और कुपोषण के साथ ही शारीरिक और मानसिक विकास पर विपरीत प्रभाव पड़ता है। उन्होंने ने बताया कि 17 अक्टूबर सोमवार को 6 साल से 19 साल तक के सभी बच्चों को विद्यालय- महाविद्यालयों में एवं आंगनबाड़ी केन्द्रों पर 1 से 5 साल तक के सभी बच्चों को कृमिनाशक दवा खिलाने की व्यवस्था की गई है। उन्होंने बताया कि महिला बाल विकास विभाग, शिक्षा विभाग, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग और स्वयंसेवी संस्थानों के सहयोग से सम्पूर्ण प्रदेश में यह कार्यक्रम संचालित किया जा रहा है। मॉप-अप राउंड 18 अक्टूबर मंगलवार को आयोजित कर पहले दिन दवा खाने से छूट गये बच्चों को दवा खिलाई जा सकेगी। इसी केन्द्र पर बाद में सभी प्रशिक्षणार्थियों को एल्बेंडाजोल की गोली खिलाई गई। इस मौके पर जिला कार्यक्रम प्रबंधक भवानीसिंह, एएनएम प्रशिक्षण केंद्र के प्रिंसीपल केसी सैनी,, ट्यूटर जिस्मा जोन, पारस कुमावत, जिला आईईसी समन्वयक नंदलाल शर्मा, सहित केंद्र के प्रशिक्षणार्थी उपस्थित रहे।