विनय एक्सप्रेस समाचार, नागौर। रात के अंधेरे व कम विजिबिलिटी में वाहनों की होने वाली दुर्घटनाओं में कमी लाने के लिए जिला प्रशासन, नगर परिषद और परिवहन विभाग द्वारा संयुक्त रुप से जिले में शुक्रवार को ’नो रिफ्लेक्टर नो व्हीकल’ अभियान को गति देने के लिए कार्यक्रम का आयोजन किया गया।i
जिसकी शुरूआत जिला कलेक्टर डॉ जितेन्द्र कुमार सोनी, पुलिस अधीक्षक श्वेता धनकड़, नगर परिषद सभापति मीतू बोथरा, मौजूद जनप्रतिनिधियों व मीडिया कर्मियों द्वारा वाहनों के पीछे रिफ्लेक्टर लगाकर की गई।
डॉ सोनी ने मौजूद जनप्रतिनिधियों, अधिकारियों और आम लोगों को संबोधित करते हुए कहा कि राज्य सरकार के निर्देशानुसार ’नो रिफ्लेक्टर नो व्हीकल’ अभियान के अन्तर्गत अब तक जिले में पुलिस और परिवहन विभाग की तरफ से सराहनीय काम किया गया और हजारों की संख्या में वाहनों पर रिफ्लेक्टर लगाए गए। अब इस कार्य में नगर परिषद नागौर ने शहर को न्यूनतम दुर्घटना क्षेत्र बनाने और इसी दिशा में नो रिफ्लेक्टर नो व्हीकल अभियान के साथ शहर की सड़कों को सही करने और साइन बोर्ड लगवाने का संकल्प लिया है। डॉ सोनी ने जिला प्रशासन की तरफ से समस्त पार्षदों व नगर परिषद सभापति मीतू बोथरा को साधुवाद देते हुए कहा कि जनप्रतिनिधियों द्वारा शहर को न्यूनतम दुर्घटना क्षेत्र बनाने के लिए लिया गया संकल्प एक सराहनीय कदम है।
नगर परिषद सभापति मीतू बोथरा ने कहा कि नो रिफ्लेक्टर नो व्हीकल अभियान सड़क दुर्घटनाओं को रोकने के लिए जिला कलक्टर के आदेशानुसार चलाया जा रहा है। इसमें अब नगर परिषद भी अपना पूरा सहयोग देगी और प्रशासन के साथ मिलकर शहर को न्यूनतम दुर्घटना क्षेत्र बनाने का प्रयास साथ मिलकर किया जाएगा।
पुलिस अधीक्षक श्वेता धनखड़ ने कहा कि रात में विजिबिलिटी कम हो जाने के कारण बिना बैकलाइट वाले वाहनों को देखने में परेशानी होती है, अगर ऐसे वाहनों पर रिफ्लेक्टर लगा दिए जाएं तो दुर्घटनाओं की संभावना कम हो जाती है। उन्होंने वाहनों के साथसाथ बेसहारा पशुओं जो रात में कई बार दुर्घटना का कारण बन जाते है, के सींगो पर भी रिफ्लेक्टर लगवाए जाने की बात की, क्योंकि कई बार अंधेरे में वाहन चालक इन पशुओं को नहीं देख पाते। रिफलेक्टर लगने से चालको के साथ बेसहारा पशुओ दोनो की जान बचायी जा सकती है। साथ ही उन्होंने जनता से अपील की तेज गति से वाहन ना चलाएं और दुपहिया वाहन चलाते वक्त हमेशा हेलमेट का उपयोग करें।